… तो क्या पुलिस ने शराब तस्करों से कर रखी है साठगांठ!

- शायद लगातार हो रही किरकिरी से बचने के लिए की कार्रवाई
- शराब तस्करी की लाइन पर पुलिस ने अपनी पीठ थपाथपा ली
सिरोही. मंडार थाना पुलिस (police) ने आखिर एक मिनी ट्रक पकड़ कर अपनी पीठ तो थपाथपा ली, लेकिन यह साबित हो गया कि इस रूट से शराब तस्करों ने लाइन चला रखी है। मंडार (mandar) से महज दो किमी आगे गुजरात (gujrat) के गुंदरी (gundari) में शराब भरे वाहन लगातार पकड़े जा रहे हैं, लेकिन यहां एक भी कार्रवाई नहीं हो रही। लिहाजा आपसी साठगांठ या मिलीभगत के मामले से भी इनकार नहीं किया जा सकता। मान सकते है एकाध वाहन आंख बचा कर निकल जाए, लेकिन शराब भरे वाहनों का लगातार बॉर्डर पार कर जाना और कुछ आगे जाकर गुजरात पुलिस की पकड़ में आना संदेह तो पैदा करता ही है।#… So has the mandar police colluded with the liquor smugglers!
… ताकि पुलिस की बेदाग छवि बनी रहे
मामला चाहे जो हो, लेकिन प्रथमदृष्टया यही माना जा रहा है कि गुजरात पुलिस की लगातार कार्रवाई के बाद शायद किरकिरी से बचने के लिए मंडार पुलिस ने भी एक हाथ मार लिया। इस मामले के बाद नवनियुक्त पुलिस अधीक्षक (sp_sirohi) ज्येष्ठा मैत्रेयी को स्वस्तर पर संज्ञान लेते हुए जांच करनी चाहिए, ताकि पुलिस की छवि बेदाग बनी रहे।
पुराना है पुलिस व तस्करों का गठजोड़
सिरोही जिला पुलिस और शराब तस्करों के बीच गठजोड़ के पुराने किस्से भी हैं। तत्कालीन पुलिस अधीक्षक पर तस्करों से साठगांठ के आरोप लग चुके हैं। इसके बाद कुछ पुलिसकर्मियों पर भी आरोप लगे। उस समय में एसपी समेत कई थानेदारों पर गाज गिरी।
कार्रवाई ने खोली थी मिलीभगत की पोल
ज्ञातव्य है कि सरूपगंज के समीप भुजेला (bhujela) में शराब तस्करी का बड़ा जखीरा मिलने के बाद पुलिस की किरकिरी हुई थी। इसके बाद पुलिस ने अपना दामन साफ बताए रखने के लिए बड़ी कार्रवाई को अंजाम दिया। इसके तहत सरूपगंज (sarupganj) में शराब भरा एक कंटेनर पकड़ अपनी पीठ थपाथपाने का प्रयास किया, लेकिन इस कार्रवाई ने मिलीभगत की सारी पोल खोल दी।
पुलिस ने मिनी ट्रक से जब्त की शराब
पुलिस के अनुसार शनिवार को एक मिनी ट्रक जब्त कर पंजाब निर्मित शराब की खेप बरामद की गई। इसमें अंग्रेजी शराब के 192 कर्टन भरे मिले। पुलिस ने इस मामले में जाटों का बेरा (बाखासर-barmer) निवासी ट्रक चालक प्रकाशसिंह पुत्र रतनलाल जाट को गिरफ्तार कर लिया। कार्रवाई में थानाधिकारी भंवरलाल, हैड कांस्टेबल सोनाराम, कांस्टेबल जूठाराम, नैनाराम, चूनाराम, मानाराम, श्रवणसिंह, रोहिताश शामिल रहे।
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