फ्लीपकार्ट को माना सेवा में दोषी, 24 हजार रुपए अदायगी के आदेश

ऑनलाइन मंगवाया था टीवी, स्क्रीन टूटी आने पर नहीं बदला, जिला उपभोक्ता आयोग ने लगाया जुर्माना
सिरोही. फ्लीपकार्ट से ऑनलाइन मंगवाए स्मार्ट टीवी की स्क्रीन टूटी आने पर भी नहीं बदला गया। इसे सेवा में दोष मानते हुए जिला उपभोक्ता आयोग ने जुर्माना लगाया है। अब फ्लीपकार्ट को टीवी की राशि के साथ ही जुर्माने समेत करीब 24 हजार रुपए अदा करने हांगे।
अभियोजन पक्ष के अनुसार प्रार्थी सतीश मीणा ने फ्लीपकार्ट के रजिस्टर्ड ऑफिस नई दिल्ली को एमआई एलइडी स्मार्ट टीवी खरीदने के लिए ऑनलाईन आर्डर दिया था। अप्रार्थी ने आर्डर बुक कर सिरोही स्थित डीलर से डिलीवरी मिलने की बात कही। अप्रार्थी के प्रतिनिधि की सूचना पर प्रार्थी ने सिरोही से अप्रार्थी के प्रतिनिधि को टीवी के बिल की राशि 13999 रुपए अदा कर टीवी पार्सल ले लिया। घर आकर पार्सल खोलने पर एलइडी स्मार्ट टीवी की स्क्रीन टूटी हुई थी। प्रार्थी ने उसी समय अप्रार्थी कम्पनी के सिरोही के प्रतिनिधि को बताकर अप्रार्थी को एसएमएस से शिकायत दर्ज करवाई। अप्रार्थी कम्पनी ने जल्द शिकायत का निस्तारण करने का भरोसा दिलाया, लेकिन अप्रार्थी ने स्क्रीन टूटी टीवी को नहीं बदला। अप्रार्थी के कहने पर प्रार्थी टीवी को लेकर अप्रार्थी के कम्पनी के सर्विस सेन्टर उदयपुर गया। वहां भी इसे मरम्मत करने से मना कर दिया गया। आयोग में शिकायत दर्ज होने के बाद सुनवाई की गई। इस सम्बंध में अप्रार्थी की ओर से इसका कोई खंडन पेश नहीं किया गया। जिला उपभोक्ता आयोग ने माना कि अप्रार्थी फ्लीपकार्ट ने प्रार्थी सतीश मीणा को टूटी स्क्रीन की टीवी भेजकर सेवादोष कारित किया है। इस पर जिला उपभोक्ता विवाद प्रतितोष आयोग के अध्यक्ष पृथ्वीराज शर्मा, सदस्य रोहित खत्री व उज्जवल सांखला ने फैसला सुनाते हुए दो माह में प्रार्थी को टीवी की राशि 13999 रुपए, मानसिक हर्जाने के लिए पांच हजार व परिवाद खर्च के पांच हजार रुपए अदा करने के आदेश जारी किए। प्रार्थी की ओर से अधिवक्ता राजेंद्र आढ़ा ने की।