रीट की परीक्षा में सरकारी शिक्षकों ने ही किया फर्जीवाड़ा, महकमे में दाग धोने की कवायद
जयपुर. मास्साब की भर्ती के लिए आयोजित परीक्षा में सरकारी शिक्षकों ने ही फर्जीवाड़ा कर दिया। शिक्षा विभाग की साख को दांव पर लगाने वाले 13 जनों को तत्काल प्रभाव से निलम्बित किया गया है। पुलिस जांच में दोषी साबित होने पर सरकारी सेवा से बर्खास्तगी करने की जानकारी भी दी जा रही है।
शिक्षा मंत्री गोविंदसिंह डोटासरा ने बताया कि प्रदेश में कुछ स्थानों पर परीक्षा में धांधली की शिकायतें मिलने पर जांच शुरू की गई है। पुलिस व स्पेशल ऑपरेशन ग्रुप लगातार जांच कर रहे हैं। फिलवक्त पुलिस व एसओजी की टीम आरोपियों से पूछताछ कर उनके साथियों की तलाश में जुटी हुई है। वहीं, विभाग में कार्यरत इन सभी आरोपी कर्मचारियों को निलम्बित किया गया है। इसमें सिरोही-जालोर के कर्मचारी भी शामिल है।
जांच एजेंसियों के हत्थे चढ़े
उल्लेखनीय है कि प्रदेश में 26 सितम्बर को 31 हजार पदों के लिए रीट परीक्षा आयोजित की गई थी। इसमें करीब 25 लाख अभ्यर्थी शामिल हुए। सरकारी जांच एजेंसियों की सतर्कता के बावजूद आरोपी फर्जीवाड़ा करने में जुटे रहे। जांच एजेंसियों के हत्थे चढऩे के बाद इनको गिरफ्त में लिया गया। शिक्षा विभाग एवं पुलिस महकमे के कर्मचारी भी इसमें लिप्त पाए गए हैं।
खुद परीक्षा देने चले गए सरकारी शिक्षक
अपने रिश्तेदारों को भर्ती करवाने के चक्कर में सरकारी शिक्षक खुद ही फर्जीवाड़ा करते हुए परीक्षा में बैठ गए। राजसमंद में पुलिस ने इस तरह के दो शिक्षकों को गिरफ्तार किया। ये दोनों ही जालोर जिले के निवासी हैं। वहीं, सिरोही के बागसीन में कार्यरत बाबू अपने भाई के बदले परीक्षा देने चला गया। जोधपुर निवासी यह आरोपी जैसलमेर में हत्थे चढ़ा।
विभाग ने इनका किया निलम्बन
शिक्षा विभाग ने अभी 13 जनों को निलम्बित किया है। पुलिस जांच में दोष सिद्ध होने पर इनको सेवा से बर्खास्त करने की कार्रवाई की जाएगी। निलम्बित कार्मिकों में सिरोही के बागसीन में पदस्थापित कनिष्ठ सहायक मनोहर, जालोर में पूरण-जसवंतपुरा के व्याख्याता मनोहरलाल, हालीवाव चितलवाना में सुरेशकुमार बिश्नोई, कालेटी-भीनमाल में प्रकाश चौधरी, बाड़मेर जिले में रामदेरिया-गिड़ा में रमेशकुमार, नागौर में ढींगसरा-खींवसर के रामनिवास बसवाना, ढींगसरा के श्रवणराम, डूंगरपुर में कदवाल के भंवरलाल कडवासरा, जादेला गलियाकोट के हरीचंद पाटीदार, राजसमंद जिले में सेली-जालोर में पदस्थापित मांगीलाल दर्जी, हाड़ेतर-सांचौर के श्रवणकुमार, भरतपुर के गोलपुरा डेहरा-कुम्हेर में लक्ष्मणसिंह व बूंदी जिले में पमाणा-जालोर में पदस्थापित श्रवणकुमार शामिल है।